सीयूएसबी की सहायक प्राध्यापिका डॉ0 रचना विश्वकर्मा को महिला उद्यमियों के विकास पर शोध के लिए अनुदान

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गया। दक्षिण बिहार केन्द्रीय विश्वविद्यालय (सीयूएसबी) के कॉमर्स (वाणिज्य) विभाग की सहायक प्राध्यापिका डॉ0 रचना विश्वकर्मा को बिहार के मगध प्रमंडल में महिला उद्यमियों के विकास एवं सशक्तिकरण का गहन अध्ययन करने के लिए इंडियन काउंसिल ऑफ सोशल साइंस रिसर्च (आईसीएसएसआर) द्वारा मेजर प्रोजेक्ट अनुदान मिला है। इस शोध परियोजना में डॉ0 रचना, मुख्य परियोजना निदेशक के तौर पर कार्य करेंगी और उनके साथ शिक्षक शिक्षा विभाग के सहायक प्राध्यापक डॉ. चन्दन श्रीवास्तव सह परियोजना निदेशक होंगे।

मुख्य परियोजना निदेशक डॉ0 रचना ने बताया कि इस दो वर्षीय परियोजना का उद्देश्य बिहार में महिला उद्यमियों को उनकी व्यावसायिक गतिविधियों को स्थापित करने और बढ़ाने में सहायता करते हैं। अध्ययन का उद्देश्य बिहार के लिए महिला उद्यमिता का एक कार्यात्मक मॉडल विकसित करना भी है जिससे राज्य में स्टार्टअप और नए व्यावसायिक उद्यमों में महिलाओं की भूमिका को सशक्त करने संबंधी नीति निर्माण में मदद मिल सके। इसमें महिला उद्यमिता से संबंधित प्रमुख सरकारी योजनाओं का विस्तृत अध्ययन भी शामिल है। उन्होंने बताया कि वर्तमान परिदृश्य में बिहार राज्य की बात करें तो यहां व्यवस्थित उद्यम गतिविधियों में महिलाओं की सहभागिता दर राष्ट्रीय स्तर से काफी कम है।

बताया कि केंद्र एवं राज्य सरकार द्वारा इस दिशा में कई सार्थक योजनाओं की पहल की गई है। उन योजनाओं के मदद से राज्य के मगध प्रमंडल में महिला उद्यमियों के विकास पर क्या असर पड़ रहा है इसकी जानकारी भी आवश्यक है। यह जानना बेहद जरूरी है कि सकारात्मक माहौल के लिए किस तरह के नीतिगत परिवर्तन की आवश्यकता है और ये परियोजना उन्हीं अहम बिंदुओं पर केंद्रित है।

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