विश्वकर्मा समाज की उपेक्षा बर्दाश्त नहीं— राम आसरे विश्वकर्मा

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गोरखपुर। अखिल भारतीय विश्वकर्मा शिल्पकार महासभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष व पूर्व मन्त्री राम आसरे विश्वकर्मा ने कहा कि विश्वकर्मा समाज की उपेक्षा बर्दाश्त नहीं की जायेगी। सामंतवादी सरकारें षडयन्त्र कर विश्वकर्मा समाज को पीछे ढकेलने का काम कर रही हैं। हद तो तब और हो गई जब यूपी की योगी सरकार ने भगवान विश्वकमार्स को महापुरूष बताकर उनके पूजन दिवस पर होने वाले सार्वजनिक अवकाश को निरस्त कर दिया। श्री विश्वकर्मा गोरखपुर के तारामंडल में विश्वकर्मा समाज द्वारा आयोजित ‘विश्वकर्मा अधिकार रैली’ को सम्बोधित कर रहे थे।


राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा कि विश्वकर्मा समाज सदियों से उपेक्षा और पिछड़ेपन का शिकार रहा है।अपनी कुशल कारीगरी, कला—कौशल के माध्यम से विश्वकर्मा समाज ने अपने परिश्रम से देश और समाज के विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया है लेकिन आज तक इस समाज के सामाजिक, आर्थिक और राजनैतिक उन्नति के लिये कोई नीति नहीं बनायी गयी। विश्वकर्मा समाज के लो​हे और लकड़ी पर आधारित प्रमुख कारोबार पर बहुराष्ट्रीय कम्पनियों का कब्जा होने के कारण समाज के लोग बेरोजगारी और भुखमरी के कगार पर पहुच गये हैं। इनके रोजगार का अब तक कोई प्रबन्ध नहीं किया गया। सामाजिक और राजनैतिक पहचान न होने के कारण लोग लगातार उत्पीड़न और उपेक्षा के शिकार हो रहे हैं।


कहा कि, देश की लोकसभा और यूपी की विधानसभा में विश्वकर्मा समाज का एक भी सांसद और विधायक न होने के कारण समाज की आवाज दब गयी है। हमारी मांग है विश्वकर्मा समाज को उनकी आबादी के अनुररूप सरकारी नौकरियों, लोकसभा और विधानसभा तथा सरकार में भागीदारी सुनिश्चित की जाय। विश्वकर्मा समाज के गौरव और स्वाभिमान के प्रतीक भगवान विश्वकर्मा के पूजा दिवस 17 सितम्बर को सरकार राष्ट्रीय अवकाश घोषित करे। लकड़ी और फर्नीचर के व्यवसाय पर लागू 18 प्रतिशत जीएसटी समाप्त किया जाय। आरामशीनों का लाईसेंस विश्वकर्मा समाज के कारोबार के लिये खोला जाय। पुश्तैनी रुप से विश्वकर्मा समाज के कुशल कारीगर लोहार व बढ़ई के युवकों को आईटीआई का प्रमाणपत्र दिया जाय। हुनरमन्द विश्वकर्मा समाज के युवकों को कौशल विकास मिशन योजना में रोजगार आरक्षित किया जाय।भूमिहीन विश्वकर्मा समाज के लोहार व बढ़ई को वर्कशाप खोलने के लिये ग्रामसभा की जमीन का पट्टा दिया जाय। सरकार शिल्पकार विकास आयोग का गठन करके शिल्पकार की सभी जातियों लोहार, बढ़ई, सोनार, ठठेरा, कसेरा आदि को रोजगार उपलब्ध कराये।
विश्वकर्मा समाज पर हो रहे उत्पीड़न और अत्याचार को बन्द किया जाय और सरकार उन्हें सामाजिक सुरक्षा उपलब्ध कराये। श्री विश्वकर्मा ने कहा कि आज का कार्यक्रम सरकार को संकेतात्मक चेतावनी स्वरूप है कि विश्वकर्मा समाज की उपेक्षा किसी भी रूप में हमें बर्दाश्त नहीं है। अगर हमें उपेक्षित करने का कार्यक्रम ऐसे ही चलता रहा तो विश्वकर्मा समाज निर्णायक लड़ाई लड़ने को बाध्य होगा।
इस अवसर पर महासभा के प्रदेश अध्यक्ष अच्छेलाल विश्वकर्मा, डॉo एस0एन0 विश्वकर्मा, पार्षद संतराज शर्मा, युवा जिला अध्यक्ष यशपाल विश्वकर्मा, नगर अध्यक्ष बृजेश विश्वकर्मा, मंदिर प्रधान शिव रतन विश्वकर्मा “लाली”, राजेश्वरी शर्मा, पूर्व प्रधान दयाशंकर शर्मा, नगर प्रभारी विनोद विश्वकर्मा, उमेश शर्मा, दीपक शर्मा, डॉ0 श्याम लाल विश्वकर्मा, श्याम जी विश्वकर्मा आदि लोग उपस्थित रहे। इसके अलावा गोरखपुर जिले के आस—पास से हजारों की संख्या में विश्वकर्मा समाज के लोगो ने कार्यक्रम में अपनी उपस्थिति दर्ज की। कार्यक्रम का संचालन विश्वनाथ विश्वकर्मा ने किया।

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